जीने के बहाने
हर लम्हा सुन्दर नहीं हो सकता ,
हर बात अच्छी नहीं हो सकती।
हर शख्स नहीं मिल सकता मन मुताबिक़ ,
हर गीत मधुर नहीं हो सकती।
ना हर फल होता है मीठा ,
ना हर फूल होता है खुशबूदार
हम हरदम तलाशते रहते हैं
अपने मन मुताबिक़ ठौर - ठिकाने !
जीने के नित नए- नए बहाने !!
- सीमा
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